रक्षा बजट 2025: आत्मनिर्भर भारत की ओर बड़ा कदम:
जैसे ही वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 1 फरवरी को केंद्रीय बजट पेश करेंगी, सभी की नजरें रक्षा क्षेत्र पर होंगी। विशेषज्ञों का मानना है कि इस बार भी सरकार रक्षा उत्पादन और आधुनिकीकरण पर खास ध्यान देगी
क्या हो सकता है इस बार का फोकस?
- नीतियों में सुधार:
सरकार रक्षा उत्पादन में सुधार और आत्मनिर्भरता को प्राथमिकता दे सकती है। - थोड़ी ज्यादा फंडिंग:
विशेषज्ञों का मानना है कि इस बार रक्षा क्षेत्र का बजट GDP का 1.9% से 2% तक रह सकता है।
पिछले बजट की झलक |
- बढ़ा था आवंटन:
2024 में सरकार ने रक्षा बजट को 4% बढ़ाकर ₹6.22 लाख करोड़ किया था। - चुनौतियां:
हालांकि, पिछले साल आवंटित फंड को सही से इस्तेमाल करने में कुछ दिक्कतें रहीं।
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इस बार की उम्मीदें:
सरकार का जोर रक्षा क्षेत्र को मजबूत और आधुनिक बनाने पर रहेगा।
- नई टेक्नोलॉजी और हथियारों पर निवेश।
- आत्मनिर्भर भारत के तहत घरेलू उत्पादन को बढ़ावा।
- सीमाओं की सुरक्षा के लिए इन्फ्रास्ट्रक्चर पर काम।
2025 का रक्षा बजट आत्मनिर्भरता, आधुनिकीकरण, और बेहतर नीतियों पर केंद्रित हो सकता है। सरकार का लक्ष्य होगा सेना को और मजबूत बनाना और देश की सुरक्षा को नई ऊंचाई पर ले जाना।
बजट का बंटवारा:
- कुल रक्षा बजट का 27.66% हिस्सा पूंजीगत व्यय (जैसे नई टेक्नोलॉजी, हथियार और उपकरण खरीदने) के लिए था।
- 14.82% हिस्सा जीविका और ऑपरेशन तैयारियों (जैसे सैनिकों की जरूरतें और ऑपरेशन खर्च) के लिए रखा गया।
संपूर्ण रक्षा बजट:
- 2024-25 के कुल बजट में से 12.9% हिस्सा रक्षा क्षेत्र को मिला। यह पिछले सालों की तुलना में लगभग समान रहा।
- ₹1.72 लाख करोड़ सिर्फ रक्षा आधुनिकीकरण (नई टेक्नोलॉजी और हथियारों के लिए) पर खर्च करने के लिए रखे गए। यह 2023-24 के मुकाबले 9.4% अधिक है।
पिछले बजट की खास बातें:
- आधुनिकीकरण पर जोर: सेना को आधुनिक और मजबूत बनाने के लिए बड़ी रकम।
- स्थानीय खरीदारी: 75% फंड से घरेलू उत्पाद खरीदे गए, जिससे मेक इन इंडिया को बढ़ावा मिला।
- सीमा बुनियादी ढांचा: देश की सुरक्षा के लिए सीमाओं पर बेहतर सड़कों और इन्फ्रास्ट्रक्चर पर फोकस।
रक्षा क्षेत्र का आधुनिकीकरण और आत्मनिर्भरता:
–स्थानीय उत्पादन पर जोर:
रक्षा बजट में स्वदेशी उत्पादन को बढ़ावा देना मुख्य फोकस रहेगा, ताकि भारत अपनी जरूरतों के लिए दूसरे देशों पर कम निर्भर हो।
- निजी और सार्वजनिक भागीदारी:
सरकार रक्षा क्षेत्र में निजी कंपनियों और पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप (PPP) को बढ़ावा देने पर जोर दे सकती है।
सुरक्षा के लिए पर्याप्त बजट:
- चीन और पाकिस्तान से खतरों के लिए तैयारियां:
रक्षा मंत्रालय के अधिकारी इस बात पर जोर दे रहे हैं कि रक्षा बलों के लिए पर्याप्त फंड मिलना चाहिए ताकि देश की सीमाएं सुरक्षित रहें।
पूंजीगत व्यय में बढ़ोतरी:
- सरकार से उम्मीद है कि वह रक्षा बजट में पूंजीगत खर्च बढ़ाकर ₹1.9 लाख करोड़ करेगी।
- यह पैसा मुख्य रूप से सैन्य वाहनों के अपग्रेड, वायुसेना के नए उपकरणों की खरीद, और नौसेना के बेड़े के उन्नयन में लगाया जाएगा।
आत्मनिर्भर भारत’ पहल का असर:
- रक्षा विनिर्माण में स्वदेशी उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए बजट में खास घोषणाएं हो सकती हैं।
- इससे न सिर्फ आयात पर निर्भरता कम होगी, बल्कि भारत की रक्षा प्रणाली और मजबूत बनेगी।
विशेषज्ञों की नजर:
- वित्त मंत्री की घोषणाओं पर ध्यान रहेगा कि स्वदेशी रक्षा निर्माण को किस तरह और बढ़ावा मिलेगा।
- उम्मीद है कि मेक इन इंडिया के तहत नई योजनाएं पेश की जाएंगी।
रक्षा बजट 2025 का मुख्य फोकस आधुनिकीकरण, स्वदेशी निर्माण और रणनीतिक सुरक्षा पर रहेगा। सरकार आत्मनिर्भर भारत के तहत देश की रक्षा क्षमता को मजबूत करने के लिए बड़े कदम उठा सकती है।
जनवरी 2025 में, एफपीआई (विदेशी पोर्टफोलियो निवेशक) की बिकवाली और कमजोर बाजार माहौल के कारण ज्यादातर रक्षा क्षेत्र के शेयरों में गिरावट देखने को मिली है। हालांकि, केंद्रीय बजट 2025 से पहले, रक्षा क्षेत्र के शीर्ष 10 शेयरों का प्रदर्शन महत्वपूर्ण हो सकता है।
यह गिरावट इस बात को दर्शाती है कि बाजार में उथल-पुथल और अस्थिरता बनी हुई है, लेकिन जैसे-जैसे बजट के आसपास उम्मीदें बन सकती हैं, रक्षा शेयरों का प्रदर्शन बेहतर हो सकता है।
बजट 2025 के बाद रक्षा शेयरों में सुधार और वृद्धि देखने की उम्मीद की जा रही है, क्योंकि सरकार ने आत्मनिर्भरता, आधुनिकीकरण और सुरक्षा पर अधिक फोकस करने की योजना बनाई है।
Stock | Gain/Loss (so far in January)* |
---|---|
Hindustan Aeronautics Ltd (HAL) | (-) 3.05% |
Bharat Electronics Ltd | (-) 4.78% |
Mazagon Dock Shipbuilders | 5.57% |
Solar Industries India | (-) 2% |
Bharat Dynamics | 14% |
Cochin Shipyard | (-) 1.98 |
Garden Reach | (-) 6.14% |
BEML | (-) 9.72% |
Data Pattern | (-) 2.41% |
Astra Microwave | (-) 0.64% |
निष्कर्ष:
केंद्रीय बजट 2025 के लिए रक्षा क्षेत्र पर खास ध्यान दिया जा सकता है, जिसमें आधुनिकीकरण, आत्मनिर्भरता, और नई तकनीक पर जोर रहेगा। सरकार रक्षा उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए स्वदेशी उत्पादन और निजी-सरकारी भागीदारी पर फोकस कर सकती है। पिछले बजट की तुलना में इस बार भी रक्षा बजट में बढ़ोतरी की उम्मीद है, खासकर पूंजीगत खर्च और सुरक्षा बुनियादी ढांचे पर। विशेषज्ञों का मानना है कि रक्षा शेयरों में बजट के बाद सुधार हो सकता है, क्योंकि सरकार ने अपनी रक्षा क्षमता को और मजबूत बनाने की योजना बनाई है।
रक्षा क्षेत्र के शेयरों में भी सुधार आने की उम्मीद है, क्योंकि सरकार ने स्वदेशी रक्षा निर्माण और आधुनिककरण के जरिए अपने सामरिक लक्ष्यों को हासिल करने की योजना बनाई है। यह बजट रक्षा के लिहाज से रचनात्मक बदलाव का प्रतीक बन सकता है और निवेशकों के लिए बेहतर अवसर प्रदान कर सकता है।